NTPC Green Energy vs Adani Green Energy: कौन है रिन्यूएबल एनर्जी का सबसे बड़ा खिलाड़ी?
रिन्यूएबल एनर्जी सेक्टर में दो बड़े नाम हमेशा चर्चा में रहते हैं—NTPC Green Energy और Adani Green Energy। दोनों कंपनियां भारतीय ऊर्जा क्षेत्र में अपनी छाप छोड़ने के साथ-साथ भारत को अधिक स्वच्छ और पर्यावरणीय रूप से जिम्मेदार ऊर्जा स्रोतों की ओर ले जाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं। इस लेख में हम NTPC Green Energy और Adani Green Energy के बीच मुख्य तुलना करेंगे, जिसमें उनकी वित्तीय स्थिति, उत्पादन क्षमता, और भविष्य की योजनाओं पर विस्तृत रूप से चर्चा की जाएगी।
NTPC Green Energy और Adani Green Energy की तुलना
भारत में रिन्यूएबल एनर्जी की बढ़ती मांग को देखते हुए, NTPC Green Energy और Adani Green Energy दोनों कंपनियों के बीच प्रतिस्पर्धा लगातार तेज हो रही है। दोनों कंपनियां सोलर और विंड एनर्जी के क्षेत्र में बड़े स्तर पर निवेश कर रही हैं और हर साल अपनी उत्पादन क्षमता में वृद्धि कर रही हैं। आइए देखते हैं कि कौन सी कंपनी इस क्षेत्र में सबसे बड़ी खिलाड़ी बन सकती है।
NTPC Green Energy: कंपनी की स्थिति और प्रमुख आंकड़े
NTPC Green Energy, NTPC लिमिटेड की सहायक कंपनी है जिसे अप्रैल 2022 में स्थापित किया गया था। यह भारत की सबसे बड़ी रिन्यूएबल एनर्जी PSU (Public Sector Undertaking) कंपनी है। NTPC Green Energy के पास वर्तमान में 3,320 मेगावाट की उत्पादन क्षमता है, जिसमें सोलर और विंड एनर्जी दोनों शामिल हैं।
कंपनी का वित्त वर्ष 2025 की पहली तिमाही में रेवेन्यू ₹1,132.74 करोड़ रुपये रहा, जबकि नेट प्रॉफिट ₹175.3 करोड़ रुपये रहा। NTPC Green Energy का 16,866 मेगावाट का पोर्टफोलियो है, जिसमें से 3,320 मेगावाट चालू है और 9,175 मेगावाट पाइपलाइन में है।
इसके अलावा, NTPC Green Energy ने अपनी आगामी आईपीओ (Initial Public Offering) के लिए 10,000 करोड़ रुपये जुटाने का लक्ष्य रखा है। इस आईपीओ को लेकर काफी चर्चा हो रही है और 19 नवंबर को सब्सक्रिप्शन के लिए खुला था। आईपीओ को अंतिम दिन 2.42 गुना सब्सक्रिप्शन मिला और इसकी लिस्टिंग 27 नवंबर को होनी थी।
Adani Green Energy: कंपनी की स्थिति और प्रमुख आंकड़े
Adani Green Energy, Adani Group की एक प्रमुख कंपनी है, जो सोलर और विंड एनर्जी परियोजनाओं में निवेश करने के लिए प्रसिद्ध है। Adani Green Energy का वित्त वर्ष 2025 की पहली तिमाही में रेवेन्यू ₹5,890 करोड़ रुपये रहा, जबकि नेट प्रॉफिट ₹1,144 करोड़ रुपये रहा।
कंपनी की उत्पादन क्षमता 11,184 मेगावाट तक पहुँच चुकी है, जिसमें से 7,393 मेगावाट सोलर और 1,651 मेगावाट विंड एनर्जी से संबंधित है। इसके अलावा, Adani Green Energy के पास 2,140 मेगावाट की हाइब्रिड क्षमता भी है, जिसे कंपनी भविष्य में बढ़ाने की योजना बना रही है।
NTPC Green Energy और Adani Green Energy की तुलना: उत्पादन क्षमता
जब हम इन दोनों कंपनियों की उत्पादन क्षमता की तुलना करते हैं, तो Adani Green Energy का आकार NTPC Green Energy से कहीं बड़ा है। Adani Green Energy के पास 11,184 मेगावाट की कुल उत्पादन क्षमता है, जबकि NTPC Green Energy के पास 3,320 मेगावाट की क्षमता है।
सोलर पावर की दृष्टि से भी Adani Green Energy ने NTPC Green Energy को पीछे छोड़ दिया है। Adani Green Energy के पास 7,393 मेगावाट सोलर पावर क्षमता है, जबकि NTPC Green Energy का आंकड़ा 3,220 मेगावाट है। विंड पावर में भी Adani Green Energy का 1,651 मेगावाट क्षमता के मुकाबले NTPC Green Energy का आंकड़ा सिर्फ 100 मेगावाट है।
रेवेन्यू और लाभ: NTPC Green Energy और Adani Green Energy
दोनों कंपनियों के रेवेन्यू और लाभ के आंकड़े बहुत अलग हैं। NTPC Green Energy का रेवेन्यू वित्त वर्ष 2024 में ₹1,962.6 करोड़ रुपये रहा, जबकि Adani Green Energy का रेवेन्यू ₹9,220 करोड़ रुपये रहा। इसी प्रकार, NTPC Green Energy का लाभ ₹344.7 करोड़ रुपये था, जबकि Adani Green Energy का लाभ ₹1,260 करोड़ रुपये था। इससे साफ है कि Adani Green Energy का वित्तीय प्रदर्शन NTPC Green Energy से कहीं बेहतर है।
रिन्यूएबल एनर्जी की बढ़ती मांग
दुनियाभर में रिन्यूएबल एनर्जी की मांग तेजी से बढ़ रही है, और भारत इसमें एक महत्वपूर्ण खिलाड़ी बन चुका है। भारत, चीन और अमेरिका के बाद दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा ऊर्जा उपभोक्ता है। 2070 तक नेट ज़ीरो (Net Zero) के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए भारत सरकार ने कई योजनाओं की शुरुआत की है, और इसके तहत रिन्यूएबल एनर्जी क्षेत्र में कई बदलाव किए गए हैं।
NTPC Green Energy और Adani Green Energy: कौन है सबसे बड़ा खिलाड़ी?
NTPC Green Energy का वित्तीय प्रदर्शन भले ही Adani Green Energy के मुकाबले थोड़ा कमजोर हो, लेकिन इसका सरकारी समर्थन और हरित ऊर्जा के क्षेत्र में भारत की सबसे बड़ी पीएसयू कंपनी होने का लाभ उठाने की क्षमता इसे एक मजबूत उम्मीदवार बनाती है। दूसरी ओर, Adani Green Energy अपनी विशाल उत्पादन क्षमता और वित्तीय लाभ के चलते इस क्षेत्र में दावेदार बना हुआ है।
कुल मिलाकर, दोनों कंपनियां रिन्यूएबल एनर्जी क्षेत्र में अपनी अलग-अलग ताकतों के साथ आगे बढ़ रही हैं, और आने वाले समय में कौन सी कंपनी आगे बढ़ेगी, यह इस क्षेत्र में आने वाली नीतियों, तकनीकी विकास और निवेश के आधार पर निर्भर करेगा।